हाथरस: हाथरस केस के तीनों आरोपियों को शुक्रवार को जेल से रिहा होने कर दिया गया। इस दौरान उनके परिजन उन्हें लेने के लिए आए थे। जिसके बाद लवकुश, रामू और रवि अपने परिजनों के साथ अलीगढ़ से हाथरस के लिए रवाना हो गए हैं। वहीं जेल से रिहा होने के बाद तीनों के चेहरे पर खुशी दिखाई दी। बता दें कि बीते रविवार को हाथरस कांड में ढाई साल बाद SC-ST कोर्ट ने फैसला सुनाया। इस मामले में अदालत ने 4 आरोपियों में से सिर्फ एक संदीप सिसौदिया को गैर इरादतन हत्या और SC/ST एक्ट दोषी माना है। वहीं कोर्ट ने रवि, रामू और लवकुश को बरी कर दिया है। संदीप अभी भी जेल में कैद है।
शुक्रवार को रिहा हुए तीनों आरोपी
वहीं जेल सुप्रीटेंडेंट ने मामले पर जानकारी देते हुए बताया कि तीनों आरोपियों को गुरुवार को ही रिहा करना था। लेकिन सुरक्षा कारणों के चलते उन्हें शुक्रवार की सुबह रिहा किया गया है। बता दें कि 4 आरोपियों में से किसी पर भी गैंगरेप का आरोप सिद्ध नहीं हो पाया था। वहीं पीड़ित पक्ष के वकील का कहना है कि वह हाईकोर्ट जाएंगे। 2 मार्च को हाथरस कांड पर हाथरस की स्पेशल एससी-एसटी कोर्ट त्रिलोक पाल सिंह की कोर्ट ने यह फैसला सुनाया है। फैसले के बाद आरोपियों के परिजनों ने इसका स्वागत किया है।
29 सितंबर 2019 को हुई थी पीड़िता की मौत
बता दें कि हाथरस के चंदपा थाने के एक गांव का मामला है। गांव में रहने वाले एक परिवार ने गांव निवासी चार लोगों पर 14 सितंबर 2019 को 19 साल की युवती के साथ गैंगरेप किए जाने का आरोप लगाया था। वहीं हाथरस से लेकर अलीगढ़ के जेएन मेडिकल कॉलेज में पीड़िता कई दिनों तक जिंदगी और मौत से संघर्ष करती रही। वहीं दिल्ली के सफदरगंज अस्पताल नें 29 सितंबर को उसकी मौत हो गई थी। बता दें कि इस घटना ने उस दौरान पूरे देश में चर्चा का विषय बन गई थी। वहीं कई नेता भी पीड़िता के परिवार से मिलने गांव पहुंचे थे। युवती के बयान के आधार पर लवकुश सिंह, रामू और रवि सिंह को आरोपी बनाया गया था। वहीं युवती के भाई ने संदीप के खिलाफ केस दर्ज करवाया था।